करतारपुर यात्रा के लिए केंद्र सरकार ने खास फॉर्म जारी किया है. इसे ऑनलाइन भरा जा सकता है। केवल भारतीय पासपोर्ट धारक और ओसीआई धारक ही करतारपुर साहिब जाने के पात्र होंगे।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी
भारत सरकार ने एमएचए की वेबसाइट पर करतारपुर कॉरिडोर के परमिट के लिए ऑनलाइन पंजीकरण शुरू कर दिया है। इसके लिए कोई भी आम जनता आवेदन कर सकती है। सिख धर्म के सबसे पवित्र स्थलों में से एक करतारपुर साहिब गुरुद्वारा कॉरिडोर बुधवार को खोला गया। वहीं कॉरिडोर के लिए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया भी शुरू हो गई है। -पीसीआर रिपोर्ट अनिवार्य है। पूर्व की सभी औपचारिकताएं भी लागू होंगी।
करतारपुर साहिब जाने के लिए सबसे पहले रजिस्ट्रेशन कराना होगा। यह पंजीकरण गृह मंत्रालय की वेबसाइट, prakashpurb550.mha.gov.in/kpr के माध्यम से किया जाएगा। यहां आपको बुकिंग प्रक्रिया पर क्लिक करना होगा और फिर पंजीकरण फॉर्म भरने के लिए निर्देशों को पढ़ना होगा। होम पेज में सबसे ऊपर आपको ‘ऑनलाइन आवेदन करें’ का विकल्प मिलेगा।
करतारपुर रजिस्ट्रेशन फॉर्म का पहला पेज भरना अनिवार्य
इस पर क्लिक करके आपको अपनी नागरिकता और यात्रा की तारीख चुननी होगी। इसके बाद कंटिन्यू पर क्लिक कर करतारपुर रजिस्ट्रेशन फॉर्म का पहला पेज भरना है। आपको सेव एंड कंटिन्यू पर क्लिक करना होगा। इसके बाद आपको अन्य जरूरी जानकारियां भरनी होंगी। जब आप फॉर्म भरेंगे तो आपको एक रजिस्ट्रेशन नंबर और एक पीडीएफ कॉपी मिलेगी। यात्रा की तारीख से तीन से चार दिन पहले, भक्तों को एसएमएस और ई-मेल के माध्यम से अपने पंजीकरण की पुष्टि मिल जाएगी।
यात्रा के लिए आवश्यक दस्तावेज
करतारपुर जाने के लिए आपके पास वैध भारतीय पासपोर्ट होना चाहिए। ओसीआई कार्ड धारकों को पंजीकरण फॉर्म में अपने कार्ड का विवरण देना होगा। यहां आपको यह ध्यान रखना होगा कि आपका नाम और जन्मतिथि पासपोर्ट में दर्ज जानकारी के अनुसार है। विशेष रूप से आपको वर्तनी की गलतियाँ नहीं करनी चाहिए।
पंजीकरण के लिए आवश्यक दस्तावेज
पंजीकरण के समय पासपोर्ट आकार के फोटोग्राफ (जेपीजी प्रारूप) की एक स्केल कॉपी की आवश्यकता होगी। इसका आकार 300 केबी से अधिक नहीं होना चाहिए। पासपोर्ट की स्कैन कॉपी भी संलग्न की जाएगी। पासपोर्ट के अंतिम पृष्ठ पर दर्ज आपके परिवार विवरण पृष्ठ को भी स्कैन करना होगा। ये सभी दस्तावेज पीडीएफ प्रारूप में 500 केबी से अधिक नहीं होने चाहिए।
आपको बता दें कि इस कॉरिडोर को सिख धर्म के संस्थापक गुरु नानक देव की जयंती से दो दिन पहले खोला गया है। यह तीर्थयात्रा मार्च 2020 से कोविड-19 महामारी के कारण स्थगित कर दी गई थी। वहीं, सूत्रों के हवाले से यह भी खुलासा हुआ है कि एक बार तीर्थयात्री पाकिस्तान की सीमा में प्रवेश करेंगे तो उनका रैपिड एंटीजन टेस्ट भी होगा। इसके अलावा पाकिस्तान में और कोई टेस्ट नहीं होगा।